मानसिक स्वास्थ्य को लेकर जागरूकता लगातार बढ़ रही है, जिसके चलते लोग माइंडफुलनेस, फिटनेस रूटीन और वर्क-लाइफ बैलेंस जैसी आदतों को अपना रहे हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि मानसिक स्वास्थ्य से जुड़े खुले संवाद और आसानी से उपलब्ध सहायता प्रणालियाँ बेहद आवश्यक हैं।

