News By:Pulse24 News Desk
बुलंदशहर, उत्तर प्रदेश: भारतीय किसान यूनियन (अराजनैतिक) की ओर से बुलंदशहर के जहांगीराबाद डिविजन के रघुनाथपुर फीडर पर आज एक महत्वपूर्ण पंचायत का आयोजन किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में किसानों ने हिस्सा लिया। इस पंचायत की अध्यक्षता रमेश चंद्र त्यागी ने की, जबकि संचालन फूल सिंह सैनी ने किया। पंचायत का मुख्य मुद्दा बिजली विभाग में फैली अनियमितता, भ्रष्टाचार, रिश्वतखोरी और किसानों के साथ खुलेआम की जा रही बदतमीजी को लेकर था। पंचायत में किसानों ने बिजली विभाग के खिलाफ गहरी नाराजगी व्यक्त की।
भ्रष्टाचार के खिलाफ किसानों का रोष
पंचायत में मौजूद युवा जिला अध्यक्ष ठाकुर शैलेंद्र आर्य ने कहा कि किसानों का शोषण किसी भी स्थिति में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने जोर देकर कहा कि किसान यूनियन भ्रष्टाचारियों को मुंहतोड़ जवाब देगी। किसानों की इस उग्रता को देखते हुए बिजली विभाग के जेई सहित सभी कर्मचारी मौके से भाग खड़े हुए, जिससे किसानों का गुस्सा और भड़क गया।
एसडीओ और कर्मचारियों को बनाया बंधक
गुस्साए किसानों ने मौके पर ही फीडर पर पंचायत की और वहां पहुंचे एसडीओ, जेई, और लाइनमैन को बंधक बना लिया। इस अप्रत्याशित स्थिति के कारण बिजली प्रशासन को बैकफुट पर आना पड़ा। एसडीओ ने किसानों को आश्वासन दिया कि भ्रष्टाचार में लिप्त टी.जी.टू कर्मचारी को दो दिनों के भीतर बर्खास्त कर दिया जाएगा और सभी मांगों का मौके पर ही समाधान किया जाएगा।
बाबा टिकैत के नारों से गूंजा पंचायत स्थल
किसानों ने एसडीओ द्वारा की गई घोषणाओं का स्वागत करते हुए खुशी-खुशी बाबा टिकैत के नारों से पूरे पंचायत स्थल को गूंजा दिया। पंचायत में किसानों ने अपनी एकजुटता और ताकत का प्रदर्शन किया, जिससे प्रशासन को उनके सामने झुकने पर मजबूर होना पड़ा।
प्रदर्शन में शामिल प्रमुख किसान नेता
इस प्रदर्शन में भारतीय किसान यूनियन के कई प्रमुख नेता और कार्यकर्ता शामिल हुए, जिनमें जिला अध्यक्ष पिंकी चौधरी, युवा जिला अध्यक्ष ठाकुर शैलेंद्र आर्य, धर्मवीर उर्फ गुड्डू प्रधान, खानपुर नगर अध्यक्ष के प्रसाद सैनी, युवा नगर अध्यक्ष सावेज खान, जिला उपाध्यक्ष कपिल गुर्जर, राजू उर्फ जसवंत राणा, प्रिंस राणा, किरण पाल सिंह, आकाश राणा, जितेंद्र राणा, परमानंद लोधी, आमिर खानपुर, राकेश वकील साहब, संजय राणा, अंकित राणा, आरिफ खान, पत्रकार अनुज शर्मा, गगन राणा, नन्हे सैनी, आशु खान बुगरासी, आजाद खान आदि सैकड़ों कार्यकर्ता शामिल रहे।
किसानों की एकजुटता का संदेश
इस पंचायत के माध्यम से किसानों ने यह स्पष्ट संदेश दिया है कि वे अपने हक के लिए किसी भी हद तक जाने को तैयार हैं। बिजली विभाग में व्याप्त भ्रष्टाचार और अन्याय के खिलाफ किसानों की इस लड़ाई ने साबित कर दिया है कि जब किसान एकजुट होते हैं, तो प्रशासन को उनके सामने झुकना ही पड़ता है।
इस घटना के बाद पूरे जिले में चर्चा का विषय बनी हुई है कि किस तरह से किसानों की एकजुटता ने बिजली विभाग के अधिकारियों को उनकी गलतियों के लिए जवाबदेह बनाया। आगामी दिनों में किसानों द्वारा उठाए गए मुद्दों का क्या असर होता है, यह देखना दिलचस्प होगा।